महाराष्ट्र के अमरावती में कैमिस्ट उमेश कोल्हे की निर्मम हत्या के मामले में पुलिस ने अब तक सात आरोपितों को गिरफ्तार किया है। दवा व्यापारी उमेश कोल्हे द्वारा नूपुर शर्मा के समर्थन में सोशल मीडिया में एक पोस्ट फॉरवर्ड करने से नाराज शेख इरफ़ान युसूफ पर गला रेत कर हत्या करवाने का आरोप है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इरफान युसूफ मृतक उमेश का पूर्व परिचित था। उमेश कोल्हे ने इरफान युसूफ की कई बार जरूरत पड़ने पर उसकी सहायता भी की थी।
न्यूज चैनल ‘आज तक’ समेत कई मीडिया रिपोर्ट्स में ये दावा किया गया है, मृतक उमेश ने युसूफ के बच्चे के दाखिले और उसकी बहन के विवाह में भी आर्थिक सहायता की थी। रिपोर्ट के अनुसार, उमेश और युसूफ एक दूसरे को करीब 16 साल से जानते थे, और युसूफ इससे पूर्व में भी एक बार उमेश की हत्या की कोशिश कर चुका था, हालाँकि उस प्रयास में इरफान असफल रहा था। इसके बाद इरफान ने दो आटो ड्राइवर और अन्य मजदूरों को अपनी एनजीओ में बुलाकर ब्रेन वॉश किया था। इसके बाद इरफान ने कथिततौर पर उन्हें 10-10 हजार रुपए देकर उनसे उमेश का कत्ल करवाया।
Umesh Kolhe extended financial help for Yusuf Khan's child to get admission in school & then for his sister's marriage.
The same Yusuf Khan first planned Umesh Kolhe's brutal murder and then also attended his funeral to shed crocodile tears.#AmravatiChemist pic.twitter.com/h9HMRbCI5B
— Priti Gandhi – प्रीति गांधी (@MrsGandhi) July 4, 2022
ऑपइंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, मृतक उमेश कोल्हे के भाई महेश कोल्हे ने बताया, कि भैया (उमेश) के युसूफ के साथ व्यवसायिक संबंध बेहद अच्छे थे। उन्होंने बताया, भैया कई बार उसकी आवश्यकताओं के अनुसार दवाओं के रुपये के लेने-देन में समय आगे-पीछे कर लेते थे। भैया अपनी पत्नी के साथ युसूफ के निवास पर भी एकाध बार समारोह में भी शरीक हुए थे। हालाँकि, युसूफ कभी हमारे घर नहीं आया। फिर भी जो हुआ वो सोच से भी परे है। उन्होंने कहा, कि कई मीडिया संस्थान मेरे बयान को बढ़ा-चढ़ा कर युसूफ को भैया का बेहद घनिष्ठ मित्र बताकर दुष्प्रचार कर रहे है, जो सरासर गलत है।
‘बुरे वक्त में युसूफ की करते थे मदद, पत्नी के साथ उसके घर पर गए थे’: उमेश कोल्हे के भाई ने बताया – मेरे ऑफिस में 15 साल रहा एक मुस्लिम स्टाफ#UmeshKolhe के भाई ने @STVRahul को बताया कि पिता की बरसी पर भाई की तेरहवीं करनी पड़ रही है।#Amrawati #Beheadinghttps://t.co/8KOYzQeaNX
— ऑपइंडिया (@OpIndia_in) July 4, 2022
मृतक उमेश कोल्हे के भाई ने ऑपइंडिया को जानकारी दी, कि भैया (उमेश) ने कोई मैसेज नूपुर के समर्थन में स्वयं नहीं लिखा था। उन्होंने तो मात्र एक मैसेज को सोशल मीडिया में फारवर्ड कर दिया था। भैया की मृत्यु के बाद घर में उनकी पत्नी, उनका पुत्र और बहू रह गए है। बेटे ने पिता के कारोबार में करीब दो साल पहले से ही हाथ बँटाना शुरू कर दिया था, और अब वही दवा के कारोबार को संभाल रहा है। उन्होंने बताया, कि पिता को गए अभी एक वर्ष भी नहीं बिता है, हमारे पिता जी की मृत्यु पिछले साल 2 जुलाई को हुई थी, और दुखद रूप से उस दिन ही हमें अपने भाई की तेरहवीं करनी पड़ी थी।