भैया दूज के पवित्र अवसर पर प्रातः 8:30 बजे भगवान केदारनाथ धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए। मुख्य पुजारी टी गंगाधर लिंग ने पूजा अर्चना के साथ वैदिक मंत्रोचार के बीच कपाट बंद किए। इससे पहले भगवान की समाधि पूजा की गई। अब छह महीने शीतकाल में केदारनाथ की पूजा अर्चना ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ में की जाएगी।
बाबा केदार के धाम में भक्तिमय स्वर लहरियों के बीच लगभग तीन हजार से अधिक श्रद्धालु कपाट बंद होने के साक्षी बने। 29 अक्तूबर को डोली अपने शीतकालीन पूजा गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ में विराजमान होगी।
#WATCH | Uttarakhand: The portals of Kedarnath Dham closed for the winter season today at 8.20 am. pic.twitter.com/4Jz0EbFLz0
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) October 27, 2022
उल्लेखनीय है, कि भैयादूज के पावन पर्व पर गुरुवार को परंपरानुसार भगवान आशुतोष के ग्याहरवें ज्योतिर्लिंग श्रीकेदारनाथ धाम के कपाट प्रातः 8.30 बजे सम्पूर्ण विधि-विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए है। इस अवसर पर हजारो भक्तों ने बाबा के दर्शन कर पुण्य अर्जित किया। बता दें, कि इस वर्ष केदारनाथ यात्रा में रिकॉर्ड 15 लाख से अधिक तीर्थयात्री पहुंचे है।
भारतीय सेना के बैंडों की मधुर धुनों के बीच हजारों भक्तों ने बाबा केदार के जयकारों के साथ डोली यात्रा को लेकर गौरीकुंड के लिए प्रस्थान किया। डोली पैदल यात्रा के प्रथम दिन आज रामपुर पहुंचेगी। जबकि इसके बाद गुप्तकाशी और फिर ऊखीमठ पहुंचेगी। उखीमठ में बाबा की उत्सव डोली को मंदिर में विराजमान किया जाएगा। इस अवसर पर श्री बद्री-केदार मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय, सीईओ योगेंद्र सिंह, कार्याधिकारी आरसी तिवारी समेत बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे।