सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म यूट्यूब और इंस्टाग्राम पर वीडियो को लाइक, फॉलो और सब्सक्राइब कर पैसे कमाने का लालच देकर देशभर में करोड़ो की ठगी करने वाले आरोपी को एसटीएफ ने राजस्थान से गिरफ्तार किया है। आरोपी ने उत्तराखंड समेत देश के अन्य राज्यों में कई लोगों से दो करोड़ रुपये से अधिक की ठगी की है। पकड़े गए आरोपी को पांच राज्यों की पुलिस खोज रही थी।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, साइबर अपराध पुलिस को हरिद्वार निवासी शिकायतकर्ता ने बताया, कि साइबर ठग ने खुद को एक कंपनी का एचआर मैनेजर बताकर यूट्यूब व इंस्टाग्राम वीडियो को लाइक, फॉलो, और सब्सक्राइब करने के टास्क देकर पैसे कमाने का लालच दिया और 19 लाख 24 हजार रुपये ठग लिए।
एसटीएफ के एसएसपी आयुष अग्रवाल ने मीडिया को जानकारी दी, कि साइबर अपराध पुलिस स्टेशन को एक शिकायत मिली थी। हरिद्वार निवासी शिकायतकर्ता को साइबर ठगों ने एक कंपनी का एचआर मैनेजर बताते हुए यूट्यूब व इंस्टाग्राम वीडियो को फॉलो, लाइक और सब्सक्राइब करने के टास्क देकर पैसे कमाने का लालच दिया और 19 लाख 24 हजार रुपये ठग लिए। मामले में मुकदमा दर्ज कर निरीक्षक विकास भारद्वाज को जांच सौंपी गई।
जांच के दौरान यह सामने आया, कि जिस खाते में रकम जमा हुई उसका संचालन नरेंद्र दुखिया निवासी गिरावंडी नागौर राजस्थान है। टीम को राजस्थान भेजा गया। टीम द्वारा स्थानीय पुलिस की सहायता से आरोपी नरेंद्र दुखिया को गिरफ्तार कर पूछताछ के लिए थाना नागौर राजस्थान लाया गया। पूछताछ से पता से चला, कि नरेंद्र दुखिया ने अपने दोस्त हरचंद दारा के नाम पर खाता खुलवाया था।
हरिद्वार निवासी एक व्यक्ति से यूट्यूब/इंस्टाग्राम वीडियो को लाईक व सब्स्क्राईब करने के टास्क के नाम पर 19 लाख रुपये की धोखाधड़ी करने वाले अभियुक्त को #UttarakhandPolice @UKCyberPolice ने नागौर राजस्थान से गिरफ्तार किया। #UKPoliceStrikeOnCrime#CyberSecurity @ANINewsUP pic.twitter.com/x5ryvXyCC9
— Uttarakhand Police (@uttarakhandcops) December 14, 2023
इसके बाद वह ट्रेडिंग के नाम पर अन्य आरोपी को पैसे ट्रांसफर करता था। आरोपी के खिलाफ गुरुग्राम हरियाणा, बैंगलुरू कर्नाटक, मुंबई महाराष्ट्र, हैदराबाद तेलंगाना, तेलंगाना में साइबर ठगी के मुकदमे दर्ज है। पुलिस की पूछताछ के दौरान आरोपी ने बताया, कि वह नामी कंपनियों की फर्जी वेबसाइट बनाकर आम जनता से व्हाट्सएप, ईमेल, दूरभाष और अन्य सोशल साइटों के माध्यम से संपर्क करते है। स्वयं को नामी कंपनियों का एचआर, अधिकारी, कर्मचारी बताकर लोगों को रोजाना तीन से आठ हजार रुपये कमाने का लालच देते है।
इसके बाद उन्हें लिंक भेजकर टेलीग्राम एप डाउनलोड करवाते हैं। अपने टेलीग्राम ग्रुप में जोड़ते हैं। फिर यू-ट्यूब वीडियो लाइक एवं सब्सक्राइब करने का टास्क देते है। इसके बाद इसमें निवेश कर अधिक लाभ कमाने का लालच देकर उनसे धोखाधड़ी करते हैं। इसके लिए वह फर्जी सिम, आईडी कार्ड तथा फर्जी खातों का प्रयोग करते है।