प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार (9 दिसंबर 2024) को पानीपत में बीमा सखी योजना का शुभारंभ किया। केंद्र सरकार की योजना का लक्ष्य उद्देश्य महिलाओं को रोजगार का साधन देना और उन्हें वित्तीय तौर पर साक्षर बनाना है। इस योजना के अंतर्गत महिलाओं को प्रशिक्षण दिया जायेगा। साथ ही में उन्हें प्रत्येक महीने स्टाइपेंड भी मिलेगा।
उल्लेखनीय है, कि पीएम मोदी ने इस योजना का उसी पानीपत से शुभारंभ किया है, जहाँ से उन्होंने 2015 में ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ अभियान की शुरुआत की थी। इस योजना के तहत देशभर में एक लाख महिलाओं को बतौर बीमा एजेंट जोड़ा जाएगा। पहले चरण में 35 हजार महिलाओं को बीमा सखी बनाया जाएगा।
कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में कहा, कि हमने महिला सेल्फ हेल्प ग्रुप के जरिए ग्रामीण महिलाओं को जोड़ा है। आज देश की दस करोड़ बहनें ग्रुप में जुड़ी हैं। वह इस ग्रुप के जरिए कमाई कर रही हैं। सरकार ने महिलाओं को आठ लाख करोड़ रुपए से ज्यादा मदद दी है। आपकी भूमिका असाधारण है, आपका योगदान बहुत बड़ा है।
पीएम मोदी ने कहा, कि बीमा सखी योजना के तहत दो लाख महिलाओं को रोजगार देने का लक्ष्य है। दसवीं पास बहनों बेटियों को ट्रेनिंग दी जाएगी। तीन साल तक आर्थिक मदद की जाएगी। बीमा से जुड़े सेक्टर का डाटा बताता है, हर महीने बीमा एजेंट पन्द्रह हजार रुपए कमाता है। इस तरह से देखें तो बीमा सखी साल में पौने दो लाख रुपए कमाएंगी।
आज लाखों बेटियों को 'बीमा सखी' के रूप में सशक्त बनाने के उद्देश्य से एक पहल की शुरुआत हुई है। महिलाएं अब बढ़ते बीमा क्षेत्र का नेतृत्व करेंगी। 'बीमा सखी योजना' ने 2 लाख महिलाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य रखा है।
-प्रधानमंत्री @narendramodi pic.twitter.com/yY0rUri2rw
— पीआईबी हिंदी (@PIBHindi) December 9, 2024
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में आगे कहा, कि आजादी के बाद भी अधिकतर महिलाओं के बैंक खाते नहीं थे, इसलिए हमारी सरकार ने सबसे पहले माताओं-बहनों के जनधन बैंक खाते खुलवाए। आज गर्व है, कि तीस करोड़ महिलाओं के बैंक खाते खुल गए। आज जनधन बैंक खाते न होते तो गैस सब्सिडी के पैसे आपके खाते में न आते।
बता दें, कि LIC के जरिए बीमा सखी बनने वाली महिलाओं को ट्रेनिंग के 3 वर्ष तक लगातार कई लाभ मिलते रहेंगे। उन्हें पहले वर्ष प्रतिमाह सात हजार रुपये दिए जाएँगे। जबकि दूसरे वर्ष प्रतिमाह ₹6000 और तीसरे वर्ष ₹5000 मिलेंगे। इन तीनों वर्ष के दौरान ट्रेनिंग के कुछ मानक भी पूरे करने होंगे। इसके साथ ही बीमा सखी पॉलिसी बेच कर अपनी आय को भी बढ़ा सकती हैं।