भारत में आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के क्षेत्र में सेना, सरकारी संस्थान और निजी कंपनियां संयुक्त रूप से मिलकर सुरक्षा से लेकर रक्षा के क्षेत्र में भविष्य की अत्याधुनिक तकनीकों का उपयोग कर रहे है। बता दें, राष्ट्र में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के आधार पर कार्य करने वाले इन सभी अत्याधुनिक उपकरणों का उत्पादन शुरू हो चुका है। सोमवार (11 जुलाई 2022) को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एक कार्यक्रम में यह स्पष्ट करते हुए कहा, कि भारत का विश्व पर राज करने का कोई इरादा नहीं है।
नई दिल्ली में ‘आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस इन डिफेंस’ पर आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की एक टिप्पणी का जिक्र करते हुए कहा, कि “मुझे कुछ वक्त पहले पुतिन की कही एक बात याद आ रही है। आप सभी को ज्ञात है, कि रूस तकनीकी रूप से एक एडवांस राष्ट्र है। एक बार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को लेकर पुतिन ने कहा था – ‘जो कोई भी इस क्षेत्र (AI) पर दबदबा कायम करेगा, वहीं भविष्य में विश्व पर राज करेगा।
#WATCH | Russian President Vladimir Putin some time ago said on Artifical Intelligence, ‘whoever becomes the leader in this sphere will become the ruler of the world’… But India doesn’t want to become world ruler. We believe whole world is family: Defence Minister Rajnath Singh pic.twitter.com/c5pCBppive
— ANI (@ANI) July 11, 2022
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कार्यक्रम में स्पष्ट रूप से कहा, कि इस तकनीक पर किसी बड़े देश अथवा समूह का कब्जा नहीं होगा, जैसा परमाणु शक्ति के मामले में हुआ है। सेना में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के उपयोग पर रक्षा मंत्री ने अपने संबोधन में कहा, कई डीआरडीओ इंडस्ट्री अकादमी केंद्र देश भर में स्थापित किए गए है। इन केंद्रों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर विशेष ध्यान दिया गया है। इसी प्रकार एआई ऐप्स को बढ़ावा देने के लिए रक्षा सेक्टर द्वारा ऐसे ही कई प्रयास वर्तमान में किए जा रहे है।
रक्षा मंत्री ने बताया, सेना की ही एक प्रयोगशाला ने ऐसा रोबोट विकसित किया है, जो बॉर्डर की निगरानी करेगा। लोहे की रेलिंग पर चलने वाला छोटा सा रोबोट एक बार चार्ज होने के बाद एक किमी के दायरे में लगातार 6 घंटे तक कार्य कर सकता है। ये रोबोट सीमा पर घुसपैठ का पता भी लगाएगा, और उसके बारे में कमांड सेंटर को तत्काल सूचना देगा और जरूरत पड़ने पर अचूक निशाना लगाकर उस टारगेट को खत्म कर देगा। कार्यक्रम के दौरान रक्षा मंत्री सिंह ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से चलने वाले 75 रक्षा उत्पादों को भी लांच किया। इन 75 उत्पादों में से कुछ पहले से ही सशस्त्र बलों द्वारा उपयोग किए जा रहे है, जबकि शेष तैनाती की प्रक्रिया में है।
Several AI-based defense products were launched by Shri Rajnath Singh, Defense Minister of India, that will greatly shape India’s Defense. We are proud to be part of this AI revolution!#AI #defense #skylarklabs pic.twitter.com/IaGxEI7qhv
— Skylark Labs (@SkylarkLabs) July 11, 2022
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कार्यक्रम के दौरान जानकारी दी, कि डीआरडीओ की एक प्रयोगशाला ने चेहरा पहचानने के लिए ऐसी तकनीक विकसित की है, जिस पर यदि तस्वीर अपलोड कर दी गई, तो भेष बदलने के बाद भी अपराधी बचकर कहीं भाग नहीं सकता है। इस तकनीक का इस्तेमाल हवाई अड्डे, रेलवे स्टेशन या भीड़-भाड़ वाले बाजारों में आतंकवादियों या कानून से छिपकर भागने वाले अपराधियों को तत्काल पहचानने के लिए किया जाएगा।