राजधानी देहरादून में विदेशी नागरिकों के साथ साइबर ठगी करने वाले एक फर्जी कॉल सेंटर का राजपुर थाना पुलिस ने पर्दाफाश किया है। पुलिस के अनुसार, आरोपित स्वयं को इंटरनेशनल एंटी हैकिंग डिपार्टमेंट का वरिष्ठ अधिकारी बताकर अमेरिका व कनाडा के नागरिकों से ठगी कर रहे थे। दून पुलिस की गिरफ्त में आए सभी आरोपी महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, गुजरात और बिहार के निवासी है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने गुरुवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में मीडियाकर्मियों को बताया, कि मुखबिर द्वारा गोपनीय सूचना मिली थी, कि आईटी पार्क स्थित सायनोटिक बिल्डिंग के ग्राउंड फ्लोर में फर्जी इंटरनेशनल कॉल सेंटर संचालित किया जा रहा है। कॉल सेंटर में अलग-अलग शिफ्टों में युवक-युवतियां का स्टाफ आता है। शिकायत के आधार पर थानाध्यक्ष राजपुर पीडी भट्ट ने पुलिस पार्टी के साथ मौके पर दबिश दी।
देहरादून एसएसपी अजय सिंह ने बताया, कि जब पुलिस ने बिल्डिंग में छापा मारा, तो वहां पर ग्लोबल टेक एनर्जी सॉल्यूशन (अवैध कॉल सेंटर) चल रहा था, जहां बड़े-बड़े हॉल में लगभग 100 कैबिन थे। इन कैबिनों में अलग-अलग युवक-युवतियां सिस्टमों पर बैठे हुए थे, और कॉल रिसीव कर रहे थे।
अन्तर्राज्जीय साइबर फ्राड गिरोह का दून पुलिस ने किया भंडाफोड़, सामने आया गिरोह का अन्तर्राष्ट्रीय कनेक्शन, एसएसपी देहरादून को मिली थी गोपनीय सूचना, कॉल सेन्टर संचालित कर लोगों से धोखाधडी करने वाले 08 अभियुक्त गिरफ्तार
81 लैपटॉप, 42 मोबाइल, 29 डेस्कटॉप,05 राऊटर व अन्य उपकरण बरामद pic.twitter.com/Kcza3HAfiA
— Dehradun Police Uttarakhand (@DehradunPolice) August 8, 2024
इस दौरान अवैध कॉल सेंटर में मौजूद सभी आरोपी अपने आप को इंटरनेशनल एंटी हैकिंग डिपार्टमेंट का कर्मचारी बताकर विदेश में लोगों से उनके कंप्यूटर सिस्टम से हैकिंग हटाने के नाम पर उनके बैंक खातों की जानकारी प्राप्त कर रहे थे। पुलिस ने मौके पर सभी उपकरणों को सील करते हुए कॉल सेंटर संचालित करने वाले सभी आठ आरोपियों को हिरासत में लिया है।
पुलिस संबधित राज्यों में भी गिरोह का कनेक्शन खंगाली रही है। इस गिरोह का खुलासा करने वाले टीम को 25 हजार रुपए का इनाम देने की घोषणा की गई है। पूछताछ में मुख्य आरोपी मिहिर अश्वनी भाई और ललित उर्फ रोडी ने बताया, कि वे देहरादून में फर्जी कॉल सेंटर संचालित कर रहे थे, जहां से वो लोग यूएसए और कनाडा के नागरिकों को टारगेट करते है।
आरोपी ने बताया, कि वो सबसे पहले हैकिंग के नाम पर पीड़ित के सिस्टम का एक्सेस प्राप्त करते थे। इसके बाद सिस्टमों का कंट्रोल लेकर उनके बैक खाते से एंटी हैकिंग सर्विस के नाम पर स्कैम करते थे। पॉप अप मैसेजों को आरोपी देहरादून से अपनी दूसरी टीम जो यूएसए में है, उसे भेजते थे।
पुलिस ने छापेमारी के दौरान मौके से 81 लैपटॉप, 42 मोबाइल फोन, 29 डेस्कटॉप, पांच वाई-फाई राउटर और अन्य उपकरण बरामद किए है। गौरतलब है, कि देहरादून पुलिस ने पहली बार जिले में संगठित अपराध करने वाले अपराधियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धारा 111 का मुकदमा दर्ज किया है। बता दें, कि कुछ दिनों पहले भी राजपुर थाना पुलिस ने इसी प्रकार के गिरोह के सदस्यों को गिरफ्तार किया, जो विदेशी नागरिकों को चूना लगा रहे थे।