गुवाहाटी में ठहरे शिवसेना के बागी गुट के नेता अब सरकार बनाने की ओर बढ़ रहे है। बागी गुट का नेतृत्व कर रहे एकनाथ शिंदे की तरफ से विधानसभा के डिप्टी स्पीकर को एक पत्र लिखा गया है। अनुमान लगाया जा रहा है, कि अब एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र में नए समीकरण बनाकर शीघ्र ही किसी बड़े उलटफेर की तैयारी कर रहे है। वहीं महाराष्ट्र ने जारी सियासी घमासान के बीच राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस दिल्ली के लिए रवाना हो चुके है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इसी बीच किसी प्रकार स्थिति संभालने का प्रयास कर रहे मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को एक तगड़ा झटका लगा है। सूचना आ रही है, कि शिवसेना के दो और विधायक टूट गए है। दिलचस्प बात है, कि सीएम उद्धव ठाकरे का संधि संदेश लेकर सूरत पहुंचे विधायक रवि फाटक समेत एक और अन्य विधायक के साथ गुवाहाटी पहुंच गए है। आशंका जताई जा रही है, कि वे भी एकनाथ शिंदे गुट में शामिल हो सकते है।
उल्लेखनीय है, कि एकनाथ शिंदे अपने बागी विधायक के साथ गुवाहाटी स्थित पांच सितारा होटल रेडिसन ब्लू होटल में ठहरे हुए है, इस दौरान होटल से एक वीडियो जारी किया गया है। सोशल मीडिया में वायरल इस वीडियो में एकनाथ शिंदे समेत 42 विधायक नजर आ रहे है। बताया जा रहा है, कि पांच सितारा होटल से जारी किये गए इस वीडियो में जो विधायक दिख रहे है, उनमें 35 शिवसेना के बागी विधायक है, जबकि अन्य सात निर्दलीय विधायक है। वीडियो में मौजूद विधायक एकनाथ शिंदे और बाल ठाकरे के समर्थन में नारे लगाते हुए भी सुने जा सकते है।
#WATCH | Assam | 42 rebel MLAs from Maharashtra – 35 from Shiv Sena and 7 Independent MLAs – seen together at Radisson Blu Hotel in Guwahati.#MaharashtraPoliticalCrisis pic.twitter.com/6MPgq42a3V
— ANI (@ANI) June 23, 2022
वहीं मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के मुख्य सलाहकार संजय राउत ने बागी विधायक को मानने के मकसद से कहा है, कि शिवसेना महाविकास अघाड़ी से बाहर आने को तैयार है। संजय राउत ने अपने बयान के साथ-साथ बागी विधायकों के गुट को अगले 24 घंटे का अल्टीमेटम भी दे दिया है। संजय राउत ने स्पष्ट कर दिया है, कि यदि किसी मुद्दे पर मुख्यमंत्री से वार्ता करनी भी है, तो बागी विधायकों के पास केवल 24 घंटे है। इसके लिए उन्हें गुवाहाटी छोड़कर वापस मुंबई लौटना पड़ेगा। हालाँकि अभी एकनाथ शिंदे मुंबई लौटने के मूड में नजर नहीं दिख रहे है।
महाराष्ट्र की सियासत को करीब से समझने वाले विशेषज्ञों के अनुसार, शिवसेना के दिग्गज नेता एकनाथ शिंदे को महाराष्ट्र में जारी सियासी घमासान का पहले से ही बखूबी अंदाजा था, कि इस पूरे मामले में सबसे कमजोर कड़ी कौन है, और इसी के चलते एकनाथ शिंदे सीएम उद्धव ठाकरे और आदित्य ठाकरे पर हमलावर हुए। वहीं शिंदे ने शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब ठाकरे के हिंदुत्ववादी के झंडे को थामे रखा है, और अब इसी रणनीति के तहत एकनाथ शिंदे शिवसेना के हिंदुत्व के एजेंडे को आगे बढाकर ठाकरे परिवार को बाहर का रास्ता दिखाकर महाराष्ट्र में सत्ता परिवर्तन करना चाहते है।