प्रभु श्रीराम का अपमान करने वाली लवली प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी (Lovely Professional University) की बर्खास्त महिला सहायक प्रोफेसर ने फेसबुक पर एक वीडियो शेयर कर लोगों से माफी माँगी है। वीडियो में भगवान राम के विरुद्ध आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाली गुरसंग प्रीत कौर ने प्रभु श्रीराम के मंदिर में दोनों हाथ जोड़कर लोगों की भावनाएँ आहत करने के लिए क्षमा माँग रही है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार यूनिवर्सिटी की सहायक प्रोफेसर गुरसंग प्रीत कौर का आपत्तिजनक टिप्पणी वाला ऑडियो वायरल होने के बाद उन्होंने एक वीडियो के माध्यम से मांफी मांगते हुए कहा, कि नमस्ते। मैं गुरसंग प्रीत कौर, लवली प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी में बतौर अस्सिटेंट प्रोफेसर काम करती थी। क्लास रूम लेक्चर के दौरान मुझसे एक बहुत बड़ी गलती हो गई, जिसे पाप भी कहा जा सकता है। गलती से मैंने भगवान राम जी के लिए कुछ ऐसे शब्दों का प्रयोग किया, जिससे पूरे देश की और हिंदू समाज के लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँची है। हालाँकि, मेरा ऐसा कोई इरादा नहीं था।
गुरसंग प्रीत कौर वीडियो में वह रोते हुए कहा, अब जब मैं भगवान राम की शरण में आ गई हूँ, तो मेरे मन में कुछ भी ऐसा नहीं है। मैंने गुरुग्रंथ साहब जी का पाठ भी किया हुआ है। उस समय में तनाव में थी, या यूँ कह सकते है, कि स्वास्थ्य समस्याओं के कारण मुझे समझ में नहीं आया कि, मैं क्लास में बच्चों से क्या कह रही हूँ। मैं आप सबसे, सारे भारतवासियों से क्षमा माँगती हूँ। मुझे इस पाप के लिए माफ करें। मुझसे गलती हुई है। मेरी वजह से बहुत सारे लोगों की धार्मिक भावनाओं और आस्था को चोट पहुँची है। मेरी आप सबसे से विनती है, कि आप इसे मेरी पहली और आखिरी गलती समझकर माफ कर दीजिए।
उल्लेखनीय है, कि बीते दिनों सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में बर्खास्त प्रोफेसर गुरसंग प्रीत कौर ने प्रभु श्रीराम के प्रति अपमानजनक भाषा का उपयोग करते हुए कहा था, कि रावण अच्छा इंसान था, लेकिन राम ने उनके साथ छल किया। प्रोफेसर यहीं पर नहीं रुकीं, और ये तक कह डाला, कि सीता के अपहरण की साजिश का प्लान रावण का नहीं बल्कि राम का था। जिसने सीता का अपहरण किया और उन्हें लंका ले गया। ऐसा करके राम अपने दुश्मन रावण को जाल में फंसाना चाहते थे।
इस वीडियो पर हंगामा मचने के बाद लवली यूनिवर्सिटी ने अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम अकाउंट पर एक बयान जारी करते हुए इस घटना पर खेद जताया था। लवली यूनिवर्सिटी ने कहा, ‘हम समझते है, कि सोशल मीडिया पर शेयर किए गए वीडियो से कुछ लोग की भावनाएं आहत हुई है। जिसमें हमारे एक संकाय सदस्य को अपनी निजी राय साझा करते हुए सुना जा सकता है। यूनिवर्सिटी ने कहा था, भगवान राम का अपमान करने वाली प्रोफेसर का वीडियो सामने आने के बाद उसे बर्खास्त कर दिया गया है।