राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की प्रत्याशी द्रौपदी मुर्मू (Draupdi Murmu) के रूप में राष्ट्र को 15वां राष्ट्रपति मिल चुका है। उल्लेखनीय है, कि द्रौपदी मुर्मू राष्ट्र देश की प्रथम महिला आदिवासी राष्ट्रपति होंगी। उन्होंने विपक्षी उम्मीदवार यशवंत सिन्हा को हराया है। द्रौपदी मुर्मू की जीत पर उन्हें बधाई देने वालों सिलसिला शुरू हो गया है। महामहिम द्रोपदी मुर्मू नए राष्ट्रपति के तौर पर 25 जुलाई को शपथ लेंगी। बता दें, कि वर्तमान राष्ट्रपति का कार्यकाल 24 जुलाई को समाप्त हो रहा है।
Secretary General of Rajya Sabha and the Returning Officer for Presidential Election 2022, PC Mody hands over the certificate to President-elect #DroupadiMurmu at her residence in Delhi. pic.twitter.com/Bvq6sn1gpT
— ANI (@ANI) July 21, 2022
बता देें, कि राष्ट्रपति चुनावों में सोमवार (18 जुलाई 2022) को संसद में 98.91 फीसदी मतदान हुआ था। राष्ट्रपति चुनाव में कुल 736 मतदाताओं (727 सांसदों और 9 विधायकों) को संसद में मतदान की मंजूरी दी गई थी, जिनमें से 728 (719 सांसदों और 9 विधायकों) ने वोट दिया था। राज्यसभा के महासचिव पीसी मोदी के मुताबिक, सांसदों के वोटों की गिनती में एनडीए प्रत्याशी द्रौपदी मुर्मू ने 3,78,000 मूल्य के 540 वोट हासिल किए, जबकि यशवंत सिन्हा को 1,45,600 मूल्य के 208 वोट मिले। इस दौरान कुल 15 वोट अवैध पाए गए।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने ट्विटर सन्देश में लिखा, “श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी का जीवन, उनके शुरुआती संघर्ष, उनकी समृद्ध सेवा और उनकी अनुकरणीय सफलता प्रत्येक भारतीय को प्रेरित करती है। वह हमारे नागरिकों, विशेष रूप से गरीबों, हाशिए पर और दलितों के लिए आशा की किरण बनकर उभरी हैं।”
Smt. Droupadi Murmu Ji's life, her early struggles, her rich service and her exemplary success motivates each and every Indian. She has emerged as a ray of hope for our citizens, especially the poor, marginalised and the downtrodden.
— Narendra Modi (@narendramodi) July 21, 2022
वहीं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने ट्वीट किया, “एक अति सामान्य जनजातीय परिवार से आने वाली NDA प्रत्याशी श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी का भारत का राष्ट्रपति चुना जाना पूरे देश के लिए अत्यंत गौरव का पल है, उन्हें बधाई देता हूँ। यह विजय अन्त्योदय के संकल्प को चरितार्थ करने व जनजातीय समाज के सशक्तिकरण की दिशा में एक मील का पत्थर है।”
एक अति सामान्य जनजातीय परिवार से आने वाली NDA प्रत्याशी श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी का भारत का राष्ट्रपति चुना जाना पूरे देश के लिए अत्यंत गौरव का पल है, उन्हें बधाई देता हूँ।
यह विजय अन्त्योदय के संकल्प को चरितार्थ करने व जनजातीय समाज के सशक्तिकरण की दिशा में एक मील का पत्थर है।
— Amit Shah (@AmitShah) July 21, 2022
बता दें, वर्ष 2015-2021 के मध्य झारखंड की राज्यपाल रही द्रोपदी मुर्मू का जन्म 20 जून 1958 को उड़ीसा में हुआ था। वे आदिवासी जातीय समूह संथाल से संबंध रखती है। द्रौपदी मुर्मू द्वारा अपने गृह जनपद से प्रारंभिक शिक्षा पूरी करने के बाद भुवनेश्वर के रामादेवी महिला महाविद्यालय से स्नातक की उपाधि हासिल की। पढ़ाई पूरी होने के बाद उन्होंने समाज की बेहतरी के लिए एक शिक्षक के तौर पर अपने करियर की शुरुआत की और कुछ वक्त तक शिक्षक के रूप में कार्य किया।
उल्लेखनीय है, कि जिस समय राष्ट्रपति पद के लिए द्रौपदी मुर्मू के नाम की घोषणा की गई थी, उस वक्त सियासी जानकारों ने कहा था, कि बीजेपी ने उन्हें राष्ट्रपति का उम्मीदवार बनाकर बड़ा राजनीतिक दांव खेला है। बीजेपी ने अपने फैसले से पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव में आदिवासियों पर फोकस किया है। आने वाले कुछ महीनों में गुजरात, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में चुनाव होने है। इन प्रदेशों में आदिवासियों का अच्छी खासी संख्या है, इस लिहाजा आदिवासी मतदाता भाजपा की रणनीति के लिए बेहद अहम है।