उत्तराखंड के चमोली में नमामि गंगे परियोजना के तहत बने सीवेज शोधन संयंत्र परिसर में हुई दर्दनाक घटना ने एक बार फिर सिद्ध कर दिया है, यह मानवजनित गंभीर लापरवाही का परिणाम है। मामले पर प्रदेश सरकार ने कार्रवाई करते हुए जल संस्थान और यूपीसीएल के दो अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया। प्रारंभिक जांच में दोनों अधिकारियों की लापरवाही पाई गई।
न्यूज एजेंसी ANI की रिपोर्ट के अनुसार, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के आदेश पर उत्तराखंड के मुख्य सचिव डॉ. एसएस संधू द्वारा चमोली पुलिस अधीक्षक को एसटीपी के रखरखाव के लिए जिम्मेदार कंपनी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए हैं। सीएम धामी ने दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करने के निर्देश भी दिए है।
Chamoli electrical accident | On the instructions of CM PS Dhami, Uttarakhand Chief Secretary Dr SS Sandhu has instructed the Superintendent of Police, Chamoli to register an FIR against the company responsible for maintaining the STP in Chamoli. CM has also given instructions to…
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 20, 2023
रिपोर्ट्स के अनुसार, चमोली हादसे मामले में सीएम पुष्कर सिंह धामी के आदेश पर उत्तराखंड पावर कॉरपोरेशन के अपर सहायक अभियंता हरदेव लाल और प्रभारी अवर अभियंता कुंदन सिंह रावत को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
On the orders of Uttarakhand CM Pushkar Singh Dhami in the Chamoli accident case, Additional Assistant Engineer, Hardev Lal and Junior Engineer-in-Charge, Kundan Singh Rawat, Uttarakhand Power Corporation have been suspended with immediate effect.
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 20, 2023
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर अधिकारियों पर निलंबन की कार्रवाई की गई। इस संबंध में जारी आदेश में मुख्य महाप्रबंधक द्वारा स्पष्ट किया गया है, कि प्रथम दृष्ट्या हरदेव लाल अपर सहायक अभियंता द्वारा विभागीय कार्यों एवं दायित्वों के निर्वहन में लापरवाही बरते जाने का दोषी पाये जाने के दृष्टिगत उन्हें तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
रिपोर्ट्स के अनुसार, हादसे में झुलसे 11 लोगों का उपचार लगातार जारी है। इसमें से दो की हालत गंभीर बनी हुई है। गुरुवार (20 जुलाई 2023) को सीएम धामी ने चमोली पहुंचकर पीड़ितों के परिजनों से मुलाकात की। सीएम धामी ने कहा, “चमोली हादसे में हताहत हुए लोगों के आश्रितों, घायलों एवं उनके परिजनों के साथ हम मजबूती के साथ खड़े हैं। दोषियों के विरुद्ध गहन जांच चल रही है और साथ ही साथ दोषी पाए जाने वाले लोगों पर सख्त कार्रवाई भी की जा रही है।”
चमोली हादसे में हताहत हुए लोगों के आश्रितों, घायलों एवं उनके परिजनों के साथ हम मजबूती के साथ खड़े हैं। दोषियों के विरुद्ध गहन जांच चल रही है और साथ ही साथ दोषी पाए जाने वाले लोगों पर सख्त कार्रवाई भी की जा रही है। pic.twitter.com/Kjp2MvcQgO
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) July 20, 2023
गुरुवार को जब चमोली हादसे के मृतकों की 15 चिताएं अलकनंदा के तट पर एक साथ जली, तो हर ओर चीत्कार गूंज उठी। हर किसी की जुबां पर एक ही बात थी, कि आखिर तंत्र कब जागेगा और कब अपनी जिम्मेदारी समझेगा। कब तक लोग ऐसी घटनाओ का शिकार बनते रहेंगे। बता दें, चमोली में हुए खौफनाक करंट हादसे में तीन गांवों के 14 लोगों की मृत्यु हुई है। इसमें सबसे अधिक हरमनी गांव से 10 लोगों की मौत हुई है। मरने वालों में नौ लोग 22 से 38 साल के बीच के थे।
वहीं मुख्य सचिव डा एसएस संधु ने गुरुवार को चमोली हादसे के संबंध में समस्त अपर मुख्य सचिवों प्रमुख सचिवों एवं सचिवों को आदेश जारी किए। चमोली हादसे से सबक लेते हुए उत्तराखंड प्रशासन ने प्रदेश में संचालित समस्त परियोजनाओं, प्रतिष्ठानों एवं सरकारी कार्यालयों में विद्युत आपूर्ति व्यवस्था के सुरक्षा मानकों का परीक्षण कराये जाने का निर्णय लिया है। साथ में सुरक्षा से संबंधित प्रमाणपत्र एक सप्ताह में प्राप्त करना अनिवार्य किया गया है। हर तीन महीने में सुरक्षा मानकों की यह प्रक्रिया दोहराई जाएगी।