गैरसैंण में उत्तराखंड विधानसभा के मानसून सत्र के तीसरे और आखिरी दिन शुक्रवार (23 अगस्त 2024) को सदन में सात विधेयक हुए पारित और दो प्रवर समिति को सौंपे गए। इसके साथ ही विधानसभा को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया।
उत्तराखंड विधानसभा के मानसून सत्र के तीसरे दिन सदन से अनुपूरक बजट पारित होने के बाद मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने कहा, कि राज्य सरकार प्रदेश में विकास योजनाओं के लिए बजट में कमी नहीं आने देना चाहती। अनुपूरक बजट के माध्यम से राज्य और केंद्र की योजनाओं को गति मिलेगी। जिन विभागों को बजट की जरूरत थी, उनके लिए भी बजट आवंटित किया जाएगा।
#WATCH | Uttarakhand Chief Minister Pushkar Singh Dhami says, "Today we proposed (in the monsoon session of the Uttarakhand Legislative Assembly) for the construction of hospitals and a Bhawan here (Gairsain)…we will also solve the problems of the Police personnel…" pic.twitter.com/FhEQBTkA83
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) August 23, 2024
मुख्यमंत्री धामी ने कहा, कि हमारा सामान्य बजट किसी कारणवश धरातल पर उतर नहीं सका, लेकिन इस अनुपूरक बजट में गरीबों को प्रमुखता दी गई है। मौजूदा समय में गरीबों द्वारा झेली जा रही समस्याओं का निस्तारण करने की दिशा में पूरी रूपरेखा तैयार की गई है, जिसे आगामी दिनों में जमीन पर उतारा जाएगा। इसके अलावा युवाओं के कौशल पर विशेष फोकस किया जाएगा, ताकि वे देश प्रदेश के विकास में अपनी अहम भूमिका निभा सकें।
वहीं विधायक ममता राकेश ने मानसून सत्र के तीसरे दिन स्मार्ट विद्युत मीटर और गरीबों व किसानों को विद्युत बिल में छूट देने संबंधी विषय अल्पसूचित प्रश्न के माध्यम से रखा। सीएम धामी ने प्रश्नकाल के दौरान विधायक ममता राकेश के अल्पसूचित प्रश्न के उत्तर में कहा, कि विद्युत प्रीपेड मीटर व्यवस्था राज्य और आम उपभोक्ताओं के हित में है।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा, इसमें रीचार्ज के दृष्टिगत अलार्म सिस्टम भी है। उन्होंने कहा कि किसानों को बिल में राहत अथवा अन्य कदम उठाने के संबंध में वित्तीय संसाधनों के हिसाब से निर्णय लिया जाएगा। उन्होंने कहा, कि विद्युत बिल ज्यादा आने और मीटर खराब होने संबंधी दिक्कतें भी जल्द दूर कराई जाएंगी।
बता दें, कि उत्तराखंड की पंचम विधानसभा का मानसून सत्र 3 दिन में 18 घंटे 9 मिनट चला। 21 अगस्त से शुरू हुए मानसून सत्र की कार्रवाई 23 अगस्त 3:00 बजे तक संचालित की गई। इसमें 21 अगस्त की कार्रवाई तीन घटे 50 मिनट रही, जबकि 22 अगस्त को सत्र की कार्यवाही 10 घंटे से अधिक चली।