उत्तराखंड की धामी सरकार अब निर्धन परिवारों की बेटियों के विवाह में आर्थिक सहायता प्रदान करेगी। मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के अंतर्गत सरकार 51 हजार रुपये खर्च करेगी। इस योजना के लिए सालाना दो लाख रुपए की आय वाले लोग ही पात्र होंगे। इसके लिए राज्य सरकार सामूहिक कन्या विवाह योजना का प्रस्ताव तैयार कर रही है। बता दें, कि उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार सामूहिक कन्या विवाह योजना पहले ही लागू कर चुकी है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, धामी सरकार गरीब परिवार की बेटियों के विवाह के लिए उत्तर प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखंड में भी सामूहिक कन्या विवाह योजना शुरू करने जा रही है। इस योजना के माध्यम से उत्तराखंड के निर्धन परिवारों को अपनी बेटियों की शादी के लिए अब परेशानी नहीं उठानी होगी, क्योंकि सरकार का कहना है, कि बेटियों के शादी में होने वाला खर्चा अब प्रदेश सरकार उठाएगी।
इस योजना को शुरू करने का मुख्य उद्देश्य राज्य में बाल विवाह जैसे आसामाजिक कृत्यों को रोकना, बालिका शिक्षा को बढ़ावा देना और प्रदेश के ऐसे परिवारों की सहायता करना है, जो गरीबी के चलते अपनी कन्याओं के विवाह को अच्छे तरीके से नहीं कर पाते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों के हवाले से कहा जा रहा है, कि मुख्यमंत्री धामी ने प्रदेश में इस योजना को लागू करने के निर्देश दे दिए है। जल्द ही इस संबंध में आधिकारिक नोटिफिकेशन जारी होने की संभावना व्यक्त की जा रही है।
उत्तर प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखंड सरकार सामूहिक विवाह योजना के तहत प्रत्येक दंपति को 51 हजार रुपए की सहायता राशि प्रदान करेगी, जिसमें 35 हजार रुपये वधू को दांपत्य जीवन, गृहस्थी शुरू करने के लिए उसके बैंक खाते में भेजे जायेंगे और 10 हजार रुपये की उपहार सामग्री वर-वधू को विवाह के अवसर पर दी जाएगी। जबकि 6000 रुपये समारोह के आयोजन के लिए खर्च किए जायेंगे।